गीली मिट्टी
- RuchiHarsh

- Jun 11
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उसने अपनी मासूम आवाज में कहा- ‘मम्मी इस गमले में तो पौधा ही नहीं है फिर हम इसमें पानी क्यों डाल रहे हैं’ क्योंकि सख्त मिट्टी में पौधा उगाना मुश्किल होता है तो जब हम पौधा उगाएंगे तो वह फटाफट लग जाएगा मैंने उसके बालों में अपनी उंगलियों पिरोते हुए कहा। पर उसके दिमाग के पिटारे में फिर एक सवाल आया और

उसने कहा- अरे ! पर हमें पता भी नहीं है ना कि हम पौधा कब लगाएंगे जब लेंगे तब डाल देंगे पानी ?? हुम्म्म्… Ok Now You have to tell me की तुम्हारे Exam कब से हैं ?? थोड़ा-सा चिढ़ते हुए उसने जवाब दिया- ‘अरे ! मम्मी Exam की बात कहां से आ गई’, मैंने हल्की-सी मुस्कुराहट के साथ फिर कहा- ‘प्लीज बताओ ना’! उसने बड़े ही गहरे स्वर में कहा- ‘अभी थोड़े ही Exam होंगे अभी तो new session शुरू हुआ है मुझे नहीं पता Exam कब है’ तो फिर मैं और तुम्हारी क्लास टीचर तुम्हें पढ़ाती क्यों है?अरे! simple है ना जिससे की exam में marks अच्छे आए हैं!
Yes…जैसे Daily पढ़ते हो जिससे कि तुम्हारे दिमाग की मिट्टी नरम रहे और जब भी कोई exam तुम्हारे सामने आए तो तुम उसे कम परेशानी में पूरा कर सको ।
मिट्टी और गमला तो शरीर और दिमाग की तरह है पानी डालना वो Daily Practice है जिससे अच्छी आदत, मेहनत करने की आदत बनती हैं और फिर अपना मन चाहा पौधा यानी कि मनचाहा लक्ष्य हम प्राप्त कर सकते हैं समझे छोटे जीनियस और ये सुनकर बड़े ही मन से उसने सुखे गमले की मिट्टी को गीला कर दिया।
उम्मीद और एहसास के बादलों को बुलाओ
मन से,मन की मिट्टी को गीला कर लो
लक्ष्य को धर कर नज़र में
जिंदगी को धन्य कर लो।
रुचि हर्ष
Writer & Life Coach



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